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Seed Treatment: बीज उपचार क्यों ज़रूरी है? बीज उपचार के लाभ के बारे संपूर्ण जानकारी।

बीज उपचार
Written by Gramik

प्रिय पाठकों, ग्रामिक के इस ब्लॉग सेक्शन में आपका स्वागत है!

बीज उपचार (Seed Treatment) एक ऐसी प्रक्रिया है जो एक फसल को बीज जनित और मृदा जनित बीमारियों के प्रभाव से बचा सकती है। बीज के अंदर या बीज की बाहरी सतह पर कुछ सूक्ष्म जीवाणु मौजूद होते हैं, जो सामान्यतः आंखों से तो नहीं दिखते, लेकिन ये रोगाणु पौधे के साथ-साथ बढ़ते हैं और पौधों को प्रभावित करते हुए कई प्रकार की बीमारियों का कारण बनते हैं। 

बीज उपचार क्यों ज़रूरी है

तो ग्रामिक के इस ब्लॉग में आज हम जानेंगे कि बीज उपचार से जुड़े सभी जरूरी तथ्यों के बारे में।

बीज उपचार क्या है?

बीज उपचार (seed treatment) एक प्रक्रिया है जिसमें बीजों और पौधों को रासायनिक, जैव रासायनिक, या तापीय रूप से रोगों और कीटों को दूर रखने के लिए उपचारित किया जाता है। पोषक तत्वों को स्थिर करने के लिए जीवाणु कल्चर (bacterial culture)  के साथ बीज उपचार का भी प्रयोग किया जाता है।

बीज उपचार क्यों ज़रूरी है?

बीज उपचार
  • बीज उपचार इसलिए आवश्यक है क्योंकि बीज इससे बीज जनित रोगों एवं कीटों के प्रभाव को प्रारम्भ में ही रोका जा सकता है। इससे फसल के विकास व अच्छी उपज मिलने की संभावना बढ़ जाती है।
  • फसल में रोग के कारक फफूद रहने पर फफूदनाशी से, जीवाणु रहने पर जीवाणुनाशी से, सूत्रकृमि रहने पर सौर उपचार या कीटनाशी से उपचार किया जाता है।
  • वहीं मिट्टी में रहने वाले कीटों से सुरक्षा के लिए भी कीटनाशी से बीजोपचार किया जाता है।
  • फसल में पोषक तत्व बनाए रखने के लिए जीवाणु कलचर (राइजोवियम, एजोटोबैक्टर, एजोस्पाइरीलम, फास्फोटिका और पोटाशिक जीवाणु) से भी बीजोपचार किया जाता है। इससे लागत का कई गुना ज्यादा मुनाफा मिलने की संभावना होती है, और बीमारियों व रोगों से बचाव होता है।

बीज उपचार की 4 मुख्य विधियां 

  1. सूखा विधि बीजोपचार 
  2. भीगी विधि बीजोपचार 
  3. गर्म पानी बीजोपचार 
  4. स्लरी बीजोपचार 
बीज उपचार

बीज उपचार की दवा

  1. वीटावैक्स पॉवर, (धानुका)  2-3 ग्राम/ प्रति किलो बीज उपचार।
  2. ज़ेलोरा,  (BASF)  2-3 मिली/ प्रति किलो बीज उपचार।
  3. डॉ बैक्टोस डर्मस 6 मिली / प्रति किलो बीज उपचार।

बीज उपचार के तरीके

सबसे पहले कृषि विशेषज्ञ द्वारा सुझाए गए कीटनाशी (insecticide) की निर्धारित मात्रा लेते है फिर उसमें 80 से 100 मिली पानी को मिलाते है अब प्रति किलोग्राम बीज को किसी पॉलीथिन के ऊपर हाथों में दस्ताने पहनकर रब करते हैं, जब बीज और दवा अच्छे से मिल जाये तो उसको 15 मिनट के लिए छाँव में सुखाते हैं।

उसके बाद हम Bavistin Fungicide से बीज उपचार करेंगे जिसमें 2.5 से 3 ग्राम दवा को 80 से 100 मिली पानी में मिलाकर प्रति किलोग्राम बीज को किसी पॉलीथिन के ऊपर हाथों में दस्ताने पहनकर रब करते हैं, जब बीज और दवा अच्छे से मिल जाये तो उसको 15 मिनट के लिए छाँव में सुखाते हैं। सूखने के बाद बीज को बुवाई के लिए उपयोग कर सकते हैं। 

जैविक खेती करने वाले किसान डॉ बैक्टोस डर्मस (ट्राइकोडर्मा विरिडी) को 2.5-5 मिली को 80 मिली पानी में मिलाकर प्रति किलोग्राम बीज के हिसाब से बीजोपचार कर सकते हैं।

आपको बता दें कि बाविस्टिन कवकनाशी का प्रयोग बीज उपचार के अलावा कई अन्य रोगों जैसे जड़ सड़न और उखटा के लिए भी बहुत प्रभावी माना जाता है। 

बीज उपचार के लाभ

बीज उपचार
  1. बीजों का अंकुरण अच्छा होता है। 
  2. बीज का उपचार फसल में बीमारियों के प्रसार को रोकता है। 
  3. बीज जनित रोगों का नियंत्रण होता है। 
  4. मृदाजनित रोगों की भी रोकथाम होती है।
  5. इससे अनेक मृदा कीटों से बीज तथा पौध की रक्षा होती है। 
  6. उपचारित बीज बोने से बीजों को सड़ने और अंकुरों को झुलसने से बचाया जा सकता है। 
  7. उपचारित बीज फसल के भंडारण के दौरान भी कीड़ों से सुरक्षा प्रदान करता है। 

FAQ

बीज खरीदते समय किस बात का ध्यान रखें?

किसान साथी बीज खरीदते समय विक्रेता से रसीद जरूर लें, साथ ही बीज के बैग पर टैगिंग को जरूर देखें।

क्या सभी किसान बीज बना सकते हैं?

जी हॉं, बीजोत्पादन के लिए सबसे पहले आपको पंजीकरण कराना होगा। इसके बाद आपके क्षेत्र में अधिक बोई जाने वाली फसल की प्रजाति सुनिश्चित करते हुए बीज उत्पादन की प्रक्रिया अपनायें।

हाइब्रिड बीज क्या है?

अधिक उत्पादन पाने के लिए शोध द्वारा बीजों के गुणों में विकास कर तैयार किये गये बीज को हाइब्रिड बीज या संकर बीज कहा जाता है।

हाइब्रिड बीज को अगले वर्ष के लिए प्रयोग किया जा सकता है?

प्रयास करें कि हाइब्रिड का भण्डारण किसान अपने स्तर पर न करें, क्योंकि इनमें अंकुरण क्षमता प्रभावित हो सकती है, और जमाव घट सकता है। इसलिए हर वर्ष नये हाइब्रिड बीज का प्रयोग करने की सलाह दी जाती है।

कौन सी दवा से बीज उपचार करें?

फफूंदजनित रोगों के नियंत्रण के लिए कार्बेंडाजिम या मैंकोजेब, कैप्टान या थीरम,आदि दवाओं का प्रयोग करें। कीटों के नियंत्रण के लिए क्लोरपायरीफॉस, इमीडाक्लोप्रीड या थायोमेथाक्सम आदि दवाओं का प्रयोग कर सकते हैं। हालांकि अपनी फसल को ध्यान में रखते हुए कोई भी रासायनिक दवा का प्रयोग करने से पहले कृषि विशेषज्ञ की सलाह ज़रूर लें।

बीज उपचार कितने दिन पहले करना चाहिए?

फसल को कीटों और रोगों से बचाने के लिए बीज उपचार करने का सही समय बीज बोने के 24 घंटे पहले का होता है। अतः बुवाई के 24 घंटे पहले बीजोपचार करें।

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